नीट पेपर लीक के मामले में राजनीति उच्च स्तर पर घमासान में है। तेजस्वी यादव का इस घटना से जुड़ने के बाद, इस मुद्दे पर और भी बड़ा विवाद उत्पन्न हुआ है।
नीट पेपर लीक: नीट पेपर लीक के मामले में देशभर में बच्चों और अभिभावकों में गहरा आक्रोश है। अलग-अलग शहरों में लोग नीट पेपर लीक के विरोध में प्रदर्शन कर रहे हैं। इसी बीच, बिहार के डिप्टी सीएम विजय सिन्हा ने पेपर लीक के मामले में तेजस्वी यादव को जोड़ा है। वह एक गेस्ट हाउस कांड की थ्योरी पर कड़ी राय रखते हैं, जिसमें उन्होंने पटना के गेस्ट हाउस के बारे में उल्लेख किया है। इसके अलावा, बीजेपी ने इस मुद्दे पर पूरी तरह से तेजस्वी यादव के खिलाफ अटैक मोड में प्रवेश किया है।
नीट पेपर लीक में अब तक 13 लोगों को गिरफ्तार किया गया है और उनसे पूछताछ भी हो रही है। विजय सिन्हा के दावों और जांच एजेंसियों की छानबीन के माध्यम से अब तक तेजस्वी यादव तक पहुंचे गए आरोपियों के चारित्रिक किरदार को समझने का प्रयास किया जा रहा है।
क्यों तेजस्वी का नाम नीट पेपर लीक से जुड़ा?
नीट पेपर लीक के मामले में प्रदीप कुमार नाम के एक व्यक्ति का नाम सामने आया है, जो एक गेस्ट हाउस के केयर टेकर हैं। इस मामले में बिहार के पूर्व डिप्टी सीएम तेजस्वी यादव का भी नाम जुड़ा है। प्रदीप कुमार ने अपने दावों में यह स्वीकार किया है कि उनसे पेपर लीक के संबंध में बात की गई थी।
इस मामले में विजय सिन्हा ने बताया कि तेजस्वी के पीएस प्रीतम ने प्रदीप को फोन करके गेस्ट हाउस के कमरे की बुकिंग के लिए संपर्क किया था। प्रदीप कुमार एक सरकारी गेस्ट हाउस के केयर टेकर हैं और उन्होंने अनुराग यादव जैसे अभ्यर्थी के लिए 4 और 5 मई को कमरा बुक किया था।
विजय सिन्हा ने तेजस्वी यादव के पीएस प्रीतम और गेस्ट हाउस के कर्मचारियों के कॉल डिटेल और व्हाट्सएप मैसेज की जानकारी मीडिया से साझा की है। इसके बाद, शुरुआती जांच के बाद प्रदीप सहित तीन लोगों को निलंबित कर दिया गया है।